बीएन मिश्र, रामसनेहीघाट, बाराबंकी। तहसील मुख्यालय से जुड़े आसपास के लोगों की नगर पंचायत बनाने की वर्षों पुरानी मुराद पूरी हो जायेगी और इसी के साथ रामसनेहीघाट को अपना वजूद एवं पहचान मिल जायेगी। नगर पंचायत का दर्जा देने के लिए शासन के निर्देश पर प्रशासन द्वारा भेजे गए प्रस्ताव को कैबिनेट में मंजूरी मिलने के साथ ही उत्तर प्रदेश शासन की ओर से अधिसूचना जारी कर दी गई है।अधिसूचना जारी होने के बाद नगर पंचायत गठन को लेकर चर्चाओं का दौर कस्बा गांव चौराहे एवं गलियों में शुरू हो गयी है। जानकारी के मुताबिक अबतक रामसनेहीघाट सिर्फ सरकारी कार्यालयों के नाम तक ही समिति था और इस नाम से कोई गाँव या कस्बा नहीं था।तहसील मुख्यालय, डाकघर, सीएचसी, दूरभाष केन्द्र, उपनिबंधक कार्यालय, भूमि विकास बैंक, भिटरिया चौराहे का एक हिस्सा ग्राम पंचायत बनीकोडर से तो कोतवाली, कालेज, बिजली आफिस, अभियंता कार्यालय आदि ग्राम पंचायत धरौली तथा फायर स्टेशन, विद्युत वितरण केन्द्र रामसनेहीघाट एवं रामसनेहीदास बाबा की समाधि ग्राम पंचायत मालिनपुर, तथा भिटरिया का उत्तरी भाग ग्राम पंचायत चंदौली से जुड़ा हुआ है।विभिन्न ग्राम पंचायतों से जुड़ा होने के कारण तहसील मुख्यालय के आसपास का सर्वांगीण विकास नहीं हो पा रहा था। आसपास की ग्राम पंचायतों को मिलाकर नगर पंचायत बनाकर रामसनेहीघाट को अपनी पहचान देने की मांग दशकों पहले से की जा रही है लेकिन राजनैतिक इच्छाशक्ति की कमी के चलते यह सपना साकार रूप धारण नहीं कर पा रहा था।पिछले साल नागरिकों के दशकों पुरानी इस मुराद को पूरी करने की पहल तत्कालीन जिलाधिकारी अखिलेश तिवारी की प्रेरणा से प्रेस क्लब की तरफ से क्षेत्रीय विधायक के साथ कुछ अन्य विधायकों के सहयोग से की गई थी।इसके बाद रामसनेहीघाट को नगर पंचायत बनाने का प्रस्ताव शासन द्वारा जिलाधिकारी के माध्यम से भेजा गया था।पहले शासन को भेजे गए प्रस्ताव में आधा दर्जन ग्राम पंचायतों के मुख्य गाँवों को शामिल किया गया था लेकिन उसे बाद में वापस लौटाकर संबंध होने वाली ग्राम पंचायतों के सभी गाँवों को शामिल करके पुनः प्रस्ताव भेजने के निर्देश दिये गए थे।
रामसनेहीघाट को नगर पंचायत बनाने के लिए जारी की गई अधिसूचना के संबंध में क्षेत्रीय विधायक सतीश चंद शर्मा ने बताया कि विगत 24 दिसंबर 2019 को उत्तर प्रदेश शासन नगर विकास अनुभाग (1) के अनुसचिव बृजेंद्र सिंह द्वारा रामसनेहीघाट को नगर पंचायत बनाए जाने के लिए अधिसूचना जारी कर दी गई है तथा आपत्तियों के लिए विचार मांगे गए हैं। उप्र शासन द्वारा जारी अधिसूचना में कहा गया है कि उत्तर प्रदेश नगर पालिका अधिनियम 1916 की धारा 3 के साथ पठित संविधान के अनुच्छेद 243-थ के खंड (2) के अधीन शक्तियों का प्रयोग करके राज्यपाल क्षेत्र की जनसंख्या, जनसंख्या घनत्व, स्थानीय प्रशासन के लिए जनित राजस्व कृषयेत्तर कार्यकलापों में नियोजन का प्रतिशत और आर्थिक महत्व को ध्यान में रखते हुए विनिर्दिष्ट करती है कि स्थानीय क्षेत्र जिसकी सीमाएं नीचे अनुसूची में दी गई हैं, भारत के संविधान के भाग-9-क के प्रयोजनार्थ संक्रमण सील क्षेत्र होगा और संक्रमणसील क्षेत्र के लिए एक नगर पंचायत का गठन किया जाएगा जिसे नगर पंचायत रामसनेहीघाट जिला बाराबंकी के रूप में जाना जाएगा। नगर पंचायत क्षेत्र के तहत दी गई अनुसूची में सम्मिलित ग्राम पंचायत चंदौली,धरौली, मालिनपुर, जेठबनी एवं बनीकोडर को शामिल करते हुए आपत्तियां मांगी गई हैं। इसके आधार पर इस बात की संभावना बढ़ गई है कि नए साल में रामसनेहीघाट को नगर पंचायत का तोहफा अवश्य मिल जाएगा।
उप जिलाधिकारी राजीव कुमार शुक्ला व तहसीलदार तपन कुमार मिश्र ने लगातार कई दिनों तक अथक प्रयास करके नगर पंचायत के लिए प्रस्ताव बनाकर शासन को भेजा गया था जिसमें तहसील मुख्यालय स्थित ग्राम पंचायत धरौली, मालिनपुर, जेठबनी, बनी कोडर व चंदौली को पूर्ण रूप से नगर पंचायत की सीमा में सम्मिलित करते हुए प्रस्ताव बनाया गया। इन सभी गांव की कुल जनसंख्या वर्ष 2011 की जनगणना के मुताबिक करीब 22 हजार थी जो कि इस समय बढ़कर 26 हजार से भी ऊपर हो गई है जबकि नगर पंचायत के लिए 20हजार की जनसंख्या ही पर्याप्त होती है। इसी क्रम में सभी गांव में 70% से अधिक लोग व्यवसाय पर आश्रित हैं ।क्षेत्र में आवश्यक सुविधाओं के तहत लखनऊ अयोध्या राजमार्ग, विद्युत अधिशासी अभियंता कार्यालय, 132 केवीए विद्युत स्टेशन के साथ ही सब स्टेशन, हाईवे, सीएचसी, स्टेट बैंक सहित कई बैंक, पुलिस उपाधीक्षक कार्यालय, कोतवाली, तहसील मुख्यालय, ब्लॉक मुख्यालय, इंटर कॉलेज के साथ कई डिग्री कॉलेज जैसी तमाम सुविधाएं उपलब्ध है। क्षेत्र को नगर पंचायत बनाने के लिए क्षेत्रीय विधायक श्री शर्मा की देखरेख में प्रस्ताव को तहसील व विकासखंड स्तरीय अधिकारियों ने अंतिम रूप देकर शासन के पास भेजा था। श्री शर्मा ने व्यक्तिगत तौर पर भी रामसनेहीघाट को नगर पंचायत बनाने के लिए शासन स्तर पर की गई जबरदस्त पैरवी के चलते प्रस्ताव को स्वीकृति मिल सकी है। विधायक सतीश शर्मा ने कहा कि मौजूदा प्रस्ताव के तहत पांच ग्राम पंचायतों को ही इसमे शामिल किया गया है, बाद में सीमा विस्तार के तहत अन्य गाँवो को भी नगर क्षेत्र में शामिल कर लिया जायेगा।
विज्ञापन :-